किरचॉफ का नियम (Kirchhoff's Law)
(1) प्रथम नियम (K.C.L/Junction Law (Node Law) :
• इस नियम के अनुसार किसी खुले परिपथ में या किसी विद्युत परिषद के किसी भी संधि (Node) पर मिलने वाली समस्त धाराओं का बीजगणितीय योग शून्य होता है। इसे बिन्दु नियम भी कहते हैं।
• यह नियम आवेश/ धारा के संरक्षण के सिद्धांत पर आधारित है।
• जंक्शन पर आने वाली करंट आउटगोइंग करंट के बराबर होती है
(ii) द्वितीय नियम (K.V.L. /loop law)
किसी बंद परिपथ मे या किसी विद्युतीय परिपथ में किसी भी बंद लूप (loop) पर मिलने वाली समस्त voltage का बीजगणितीय योग शून्य होता है। करता है।
यह ऊर्जा संरक्षण के सिद्धान्त पर कार्य करता है |
Loop हमेशा बंद परिपथ होता है।
Mesh एक वैसा बंद परिपथ जिसके अन्दर कोई दूसरा बंद परिपथ नहीं हो उसे Mesh कहते हैं।
सारा Mesh, loop होगा लेकिन सारा loop Mesh नहीं हो सकता |
• KVL विधि से विद्युत परिपथ को हल करने की विधि
• बैट्री में + से - की ओर चलते हैं तो बैट्री का Voltage (-) ऋणात्मक लेते हैं।
• बैट्री में - से + की ओर चलते हैं तो Voltage (+) धनात्मक लेते हैं।
• परिपथ में विद्युत धारा की दिशा में चलते हैं तो प्रतिरोध के परित: Voltage (-) लेते हैं।
(Node) : एक junction होता है जहाँ दो या दो से अधिक शाखाएँ जुड़ी होती हैं।
कुछ महत्वपूर्ण तथ्य
● विद्युत भार (Electrical Load):
• प्रतिरोध का मान यदि बढ़ेगा तो Load घटेगा और विद्युत धारा घटेगा।
• यदि प्रतिरोध घटेगा तो विद्युत धारा का मान बढ़ेगा तो Load बढ़ेगा।
● लघु पथन (Short circuit) :
• Short circuit होने पर प्रतिरोध (R) का मान लगभग शून्य हो जाता है और Voltage का मान भी शून्य हो जाता है जबकि विद्युत धारा का
मान बढ़ जाता है।
● खुला परिपथ (Open circuit):
खुला परिपथ में विद्युत धारा का मान शून्य होता है।
खुला परिपथ में Voltage का मान शून्य नहीं होता है।
खुला परिपथ में प्रतिरोध अनन्त (♾️) होता है
1 कूलॉम = 6.24 x 1018 electron
1 F = 96500 Coulomb
घरों में व्यय विद्युत ऊर्जा की माप
: घरों में व्यय विद्युत ऊर्जा की माप किलोवाट घण्टा (या यूनिट) में की जाती है।
व्यय विद्युत ऊर्जा (kWh में) = कुल शक्ति x कुल समय /1000
कुछ महत्वपूर्ण बातें
• किसी व्यक्ति को सुरक्षित रहने के लिए अधिकतम 9 mA विद्युत धारा उपयुक्त है।
• मानव शरीर का प्रतिरोध लगभग 1000 52 होता है। इलेक्ट्रॉन एक यूनिट ऋणावेश वहन करता है।
• ह्रीटस्टोन ब्रीज से अज्ञात प्रतिरोध मापा जाता है। Schering ब्रीज से capacitance मापा जाता है।
• मैक्सवेल ब्रीज से inductance मापा जाता है।
• Schering ब्रीज से relative permitivity भी मापी जाती है। Kelvine ब्रीज से निम्न प्रतिरोध मापा जाता है।
• Wein ब्रीज से frequency मापी जाती है।
• अगर दो तार समानांतर में एक ही दिशा में धारा प्रवाहित हो तो वे एक-दूसरे को आकर्षित करेंगे। जब दो प्रतिरोध को समांतर में जोड़ा जाता है तो परिणामी प्रतिरोध निम्न प्रतिरोध से कम होता है।
• पानी में अगर सप्लाई के दो तारों को डाला जाय और दोनों तार के पास में बुलबुले बनते हैं तो वह सप्लाई D. C. है और यदि बुलबुले बने बिना
• पानी गर्म हो रहा है तो वह सप्लाई A.C. है। घरों में लगे उपकरण विद्युत सप्लाई के साथ समानांतर में लगे होते हैं।
• इसका एक कारण एकसमान voltage है।
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