विद्युत धारा के प्रभाव (Effects of Electric Current) 

 (i) ऊष्मीय प्रभाव ( Heating Effect) 

 : इस प्रभाव के अनुसार जब किसी चालक तार से विद्युत धारा प्रवाहित की जाती है तो उससे ऊष्मा उत्पन्न होती है इसे विद्युत धारा का उष्मीय प्रभाव कहते है 

   इसकी खोज जूल (Joule) ने की थी। 

   इस प्रभाव के अनुसार,

              H = I2Rt

              जहाँ ,     H = उत्पन्न उष्मा (J)

                         I = धारा (A)

                         R = प्रतिरोध 

                         t = time (second)

                      |H = Pt,    जहाँ P = Power है।

  इसकी खोज जूल ने की थी इसलिए इसे "जूल का प्रभाव" के नाम से भी जानते हैं। 

 1 बोर्ड ऑफ ट्रेड यूनिट (BTU) 36 x 105 जूल के बराबर होता है।

उष्मीय प्रभाव पर आधारित उपकरण:

(क) विद्युत प्रेस (Electric Iron) 

(ख) हीटर (Heater)

(ग) बल्ब (Bulb) 

(क) विद्युत प्रेस (Electric Iron)
 

 विद्युत धारा के प्रभाव (Effects of Electric Current)

1. इसमें अभ्रक का एक प्लेट होता है जो ऊष्मा का सुचालक किंतु विद्युत का कुचालक होता है। 

2. जिस पर नाइक्रोम (निकिल + क्रोमियम) की एक कुण्डली होती है जब इससे विद्युत धारा प्रवाहित की जाती है तो यह गर्म हो जाती है। 

3. नाइक्रोम का प्रतिरोधकता और गलनांक उच्च होता है।

(ख) हीटर (Heater)

 define electric heater 

1. इसमें चीनी मिट्टी का एक प्लेट लगा होता है जो ऊष्मा एवं विद्युत दोनों का कुचालक होता है।

2. इस प्लेट पर Nichrome (Ni + Cr) की बनी मिश्रधातु की एक कुण्डली होती है।

(ग) बल्ब (Bulb )
 chemical effect and magnetic effect

 

इसमें काँच का एक बर्तन होता है जिसमें टंगस्टन धातु (W) का बना filament होता है। इस तंतु का गलनांक एवं प्रतिरोध उच्च होता है परंतु यह उच्च तापमान पर ऑक्सीकृत हो जाता है। इसलिए पहले बल्ब में निर्वात रखा जाता था। परंतु निर्वात में ऊष्मा का संचरण संवहन द्वारा नहीं हो पाने के कारण टंगस्टन पिघलकर वाष्पीकृत हो जाता है। इसी समस्या को दूर करने के लिए आजकल Bulb मे  Nitrogen या Argon गैस भरी जाती है। टंगस्टन का गलनांक-3380°C

(ii) चुम्बकीय प्रभाव (Magnetic Effect) 

1. विद्युत धारावाही चालक के चारों ओर चुम्बकीय क्षेत्र पैदा हो जाता है। यह विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव कहलाता है।

2. इसकी खोज H.C. Orsted ने किया था।

चुम्बकीय प्रभाव पर आधारित उपकरण 

(क) गैल्वेनोमीटर (Galvanometer)

(ख) आमीटर (Ammeter) 

(ग) वोल्टमीटर (Volt meter)

(घ) विद्युत घण्टी (Electric Bell)

(ङ) पंखा (Fan)

(च) मोटर (Motor) इत्यादि 

(iii) रासायनिक प्रभाव (Chemical effect)

chemical effect and magnetic effect

1. अम्लीय विलयनों में से विद्युत धारा प्रवाहित करने पर विलयन में घुले पदार्थ अपने अवयवों में विभाजित हो जाते हैं। यह विद्युत धारा का रासायनिक प्रभाव कहलाता है।
2. इसकी खोज माइकल फैराडे ने किया था। 

3. वैसा विलयन जिसमें विद्युत धारा प्रवाहित हो सकती है वैद्युत् अपघट्य कहलाता है। वैद्युत अपघट्य में धारा का प्रवाह lons (धनायन एवं ऋणायन) के कारण होता है।
4. तापमान बढ़ने पर वैद्युत अपघट्य का प्रतिरोध घटता है तथा चालकता बढ़ती है। 

5. जिस बर्तन में वैद्युत अपघटन की क्रिया होती है उसे वैद्युत अपघटनी सेल या Electrolytic cell या Voltameter कहते हैं।
 

(iv) गैस आयनीकरण प्रभाव (Gas lonisation Effect)

1. किसी विसर्जन नालिका में भरी विशेष गैस में से विद्युत धारा प्रवाहित करने पर गैस का आयनीकरण हो जाता है। इसे विद्युत धारा का गैस आयनीकरण प्रभाव      कहते है।

2. गैस आयनीकरण प्रभाव पर आधारित उपकरण (क) उच्च प्रकाश तीव्रता वाले बल्ब विद्युत धारा के किरण प्रभाव का उपयोग X-rays पैदा करने के लिए किया जाता है।